भारतीय युवा और जिम्मेदारी | Indian youth and responsibility in hindi

भारतीय युवा और जिम्मेदारी पर लेख | Indian youth and responsibility Article  in hindi

भारत देश की रीढ़ की हड्डी युवा वर्ग को कहा जाता है. देश को बनाने के लिए युवा वर्ग मुख्य भूमिका निभाता है. किसी भी देश का भविष्य देश के युवाओं के द्वारा सुंदर बनता है. हमारा भारत देश तो युवाओं का ही देश है, हमारे देश की जनसँख्या का एक बड़ा हिस्सा युवा वर्ग का है. युवा उनको कहा जाता है जिनकी उम्र 15 साल से 40 साल के बीच हो. भारत देश को आजादी दिलाने में मुख्य भूमिका निभाने वाले  भगत सिंहसुभाष चन्द्र बोस, चंद्रशेखर आजाद, खुदीराम बोस थे. इसके अलावा भी बहुत से स्वतंत्रता संग्रामी थे, जिन्होंने देश के नाम अपनी जान दे दी. भारतीय युवा ने देश को कहाँ से कहाँ पहुँचा दिया है, युवाओं के चलते ही देश ने इतनी तेजी से विकास किया है. लेकिन आज का भारतीय  युवा स्वार्थी हो गया है, वो देश की तरक्की के बारे में न सोच कर सिर्फ अपने बारे में सोचता है. भारतीय युवा को अपनी ज़िम्मेदारी को समझना चाहिए.

भारतीय युवा और जिम्मेदारी पर लेख 

Indian youth and responsibility in hindi

अब समय आ गया है कि देश के युवा को अपनी ज़िम्मेदारी समझनी होगी. विकासशील से विकसित देश बनने के लिए उसे सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक, प्रशासनिक सभी विषयों में रूचि लेना  होगा. एक मजबूत राष्ट्र विकास के लिए युवाओं में एक फौलादी जिगर, दृढ़ इच्छा शक्ति, पराक्रम, धैर्य, संयम की जबरजस्त मांग होती है. स्वामी विवेकानंद ने कहा था कि ‘युवा राष्ट्र की वास्तविक शक्ति है’. स्वामी विवेकानंद ने देश के युवा को हमेशा से बढ़ावा दिया, उनके विचार आज भी युवाओं के मन को प्रभावित करते है, यही कारण है कि विवेकानंद को कई लोग अपना आदर्श मानते है. मॉडर्न भारत बनाने के लिए ये 3 बातों पर ध्यान देना बहुत जरुरी है –
  • आतंकवाद
  • भ्रष्टाचार
  • सांप्रदायिक असमानताओं
युवाओं की ज़िम्मेदारी (Youth Responsibility)–
  1. देश के प्रति ज़िम्मेदारी – देश में बदलाव के लिए देश के युवा को देश से प्रेम रखना होगा. देश प्रेम के चलते ही युवा देश की तरक्की के बारे में सोच पायेगा. देश प्रेम दिखाने के लिए युवा को राजनीती में रूचि दिखानी होगी. आज देश की बागडौर वृद्ध लोगों के हाथ में है, कुछ एकाद ही युवा राजनीती में सक्रीय है. जिससे राजनीती बत से बत्तर होती जा रही है. ये बूढ़े नेता अपनी देखभाल तो सही से कर नहीं पाते है, देश की सेवा कैसे करेंगें. देश में युवाओं को देश का एक अच्छा नागरिक भी बनना चाहिए, देश के प्रति ज़िम्मेदारी जैसे वोट डालना, देश को स्वच्छ रखना, टैक्स भरना, घूस न लेना न देना आदि को समझना चाहिए. एक अच्छा नागरिक वही है, जो खुद भी ज़िम्मेदार बने, और दुसरे को भी इसके लिए प्रेरित करे.
युवाओं का राजनीती के प्रति आक्रोश के कारण –
  • राजनीती में ऐसे बहुत से चेहरे है, जो राजनीती को मलिन कर रहे है. राजनैतिज्ञ में लालच, भ्रष्टाचार, सत्ता के लिए कुछ कर बैठना ये सभी आदत दिखाई देती है, जिससे युवाओं को राजनीती से घृणा होती जा रही है.
  • देश में फैली अनेकों बुराइयों से दूर युवा दुसरे देश में रहना पसंद करते है, उन्हें दुसरे देश में विकास के ज्यादा मौके समझ आते है.
  • दुसरे देश वाले भारत के युवाओं को अधिक पैसा देकर वही रहने का मौका देते है, क्यूंकि विदेशी भी मानते है, भारतीय युवा ज्यादा मेहनती होते है.
  • अगर कोई युवा राजनीती में जाता भी है, तो सच्चे मार्ग में चलते हुए उसे सत्ताधारीयों के द्वारा दबा दिया जाता है.
  • मीडिया कई बार राजनीती का गलत चेहरा सबके सामने लाती है, जिससे युवा देश की राजनीती को दूर से ही गलत समझ लेता है.
  • देश में युवा आवाज को अनुभव की कमी बताकर हमेशा दबाया जाता है.
  • माता पिता नहीं चाहते उनका बेटा राजनीती में आकर अपना भविष्य ख़राब करे, क्यूंकि माना जाता है कि जो कम पढ़ा, लिखा होता है, या जिसको पढाई या काम में कोई रूचि नहीं होती है, वही राजनीती में आता है.
  • माँ बाप भारत देश की राजनीती को देखकर, अपने बच्चे को राजनीती में भेजने से डरते है.
देश के युवा जो राजनीती में शौक रखते है, वे दूर से बैठकर बस तमाशा देखकर, दूसरों की गलती निकालते है, उसे जाकर ठीक करने से डरते है. लेकिन कहते है कि कीचड़ को साफ़ करने के लिए कीचड में उतरना बहुत जरुरी है. उस कीचड से आपके उपर भी दाग लगेंगें, लेकिन वे अपनी छाप नहीं छोड़ पायेंगें.
युवा आज घर बैठे सोशल मीडिया के द्वारा अपनी आवाज तो बुलंद करने लगा है, ये एक अच्छा भी तरीका है, लेकिन इसके अलावा उसे राजनीती में भी अपना नाम लिखवाना होगा. वैसे आजकल के  चुप बैठने वालों में से नहीं है, कोई भी गलत बात होते ही, उसके बारे में सोशल मीडिया में ट्रेंडिंग चालू हो जाती है. लोग अपने अलग अलग विचार उस पर प्रकट करते है. किसी चीज को सपोर्ट करने के लिए सोशल मीडिया में आवाज उठाई जाती है. लेकिन ये बात भी सच है कि ये आवाज कई बार हमारे देश के ऊँचे स्थान पर बैठे नेताओं के कान तक नहीं पहुँचती है. सोशल मीडिया का माध्यम आज भी पूरी तरह से विश्वास करने योग्य नहीं है.
देश के युवा का राजनीती में आने से फायदा –

1.
विकसित,सशक्त देश बनेगा
2.
बेरोजगारी, आरक्षण की समस्या हल होगी
3.
शिक्षा में वृद्धि होगी
4.
आने वाला कल देश के लिए बहुत अच्छा होगा

परिवार के प्रति ज़िम्मेदारी –युवाओं में ज्यादा जोश व एनर्जी होती है, जिससे वे अधिक लगन के साथ काम कर पायेंगें.
  • युवाओं की सोच एक नयी, विकास वाली होती है, जिससे देश का विकास होना तय है.
  • नए मॉडर्न इंडिया बनाने के लिए, युवा सोच की बहुत जरूरत है. युवा अपने युवा भाई बहनों के लिए सोचेगा जिससे बहुत सी परेशानियाँ हल हो जाएँगी.
  • आज कई युवा भटक गया है, कई बार सेल्फिश हो जाता है. कुछ लोग बस अपने में ही मस्त रहते है, माँ बाप परिवार के प्रति ज़िम्मेदारी समझते ही नहीं है. युवा ही है, जो परिवार के खम्बे होते है, जो उसे खड़ा करते है. वे जिम्मेदार नहीं होंगें तो परिवार भी बिखर जायेगा और जब तक परिवार विकास नहीं करेगा, देश कभी विकास नहीं कर पायेगा.
  • कुछ ऐसे भी युवा है, जो बस काम को ही तवज्जो देते है, परिवार को नहीं. माँ बाप के प्रति ज़िम्मेदारी नहीं समझते और उन्हें वृधाश्रम में छोड़ देते है. माँ बाप के प्रति ज़िम्मेदारी से कभी नहीं भागना चाहिए. काम के अलावा पुरे परिवार के साथ समय बिताना चाहिए.
  1. समाज के प्रति ज़िम्मेदारी – युवाओं को सामाजिक भी होना चाहिए. समाज हमारे लिए बनाया गया है, समाज की गतिविधियों में भाग लेना चाहिए. समाज के प्रति अपनी ज़िम्मेदारी को समझना चाहिए. लेकिन कभी भी समाज की बातों में आकर गलत निर्णय नहीं लेना चाहिए. लोग क्या कहेंगें, समाज क्या कहेगा यही सोच सोचकर कई बार इन्सान गलत निर्णय ले लेता है, जिससे नुकसान समाज का नहीं, आपका ही होता है.
युवा अपनी ज़िम्मेदारी समझेंगें तभी वे आगे भविष्य में अपने बच्चों को इसके बारे में बता सकेंगें. युवा शक्ति देश की सबसे बड़ी शक्ति है, आज हमारे देश का अधिकतर युवा वर्ग पढ़ा लिखा, इस बात का फायदा देश को भी मिलना चाहिए और देश को आगे बढ़ाने के लिए युवा को खुलकर सामने आना चाहिए. हमारे देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भी युवा शक्ति को सबसे बड़ा मानते है, वो युवाओं से देश की राजनीती में आने के लिए प्रेरित भी करते है.

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